लाइव सत्यकाम न्यूज,लखनऊ : लखनऊ व्यापार मंडल का 5 सदस्यीय एक प्रतिनिधि मंडल अध्यक्ष अमरनाथ मिश्र के नेतृत्व में प्रमुख सचिव एम. देवराज (IAS) से भेंट कर जीएसटी-2 व्यवस्था की खामियों और सुधार संबंधी सुझाव का ज्ञापन सौंपा।
अध्यक्ष ने प्रमुख सचिव जी से अपनी बात रखते हुए कहा कि जो स्टॉक रिटेलर के पास है और वह अन ब्रांड है उसमें कर की दर जीरो हो गई है ऐसे में कंपनी से कोई क्रेडिट नोट भी नहीं मिलेगा जिसे व्यापारी धीरे धीरे बेच कर समाप्त करेगा और जो नया माल आएगा उसको उसी तरीके से बेचेगा व्यापारी तो एक बीच की कड़ी है जिस तरीके से माल आता है उसी तरीके से बेच देता है जो अभियान चलाया जा रहा है और व्यापारी को गलत ठहराने की कोशिश है वह गलत धारणा है व्यापारी ईमानदारी के साथ सरकार के साथ है और पूरा लाभ देगा।
और ज्ञापन में मुख्य बिन्दुओं को बताया जो इस प्रकार है
जहाँ उपभोक्ता और कुछ व्यापारियों को राहत मिली है, वहीं अब भी कई जटिलताएँ बनी हुई हैं। व्यापारियों की ओर से प्रमुख मांगें की गईं कि एक व्यापार–एक कर व्यवस्था लागू हो, एक ही दर वाले ट्रेड में केवल एक HSN रखा जाए, बार-बार नियमों में बदलाव न हों, आईटीसी का ऑटो रिफंड मिले और रिफंड की प्रक्रिया सरल की जाए। साथ ही छोटे व्यापारियों पर तकनीकी खामियों के कारण पेनाल्टी का बोझ न डाला जाए और सत्यापन के नाम पर होने वाले उत्पीड़न पर रोक लगे।
वरिष्ठ महामंत्री पवन मनोचा जी ने कहा कि GST में केवल व्यापारी मुनीम बनकर रह गया है दिन भर लिखा पढ़ी करता रहता है जिसके कारण व्यापार आधा रह गया है।
महामंत्री जितेंद्र सिंह चौहान ने कहा कि स्टेशनरी में आज भी विसंगतियां उतनी ही है जितनी पहले थी कागज पर कर की दर 12 प्रतिशत से 18 प्रतिशत कर दी गई जबकि उसी कागज से बनी बुक जीरो प्रतिशत कर की दर में है स्कूली बच्चों के बैग 18 प्रतिशत में है।
मिश्र ने कहा कि यदि इन बिंदुओं पर गंभीरता से विचार किया जाए तो जीएसटी व्यवस्था और अधिक सरल होगी तथा कर संग्रहण भी बढ़ेगा।
मुख्य रूप से चेयरमैन राजेंद्र कुमार अग्रवाल अध्यक्ष अमरनाथ मिश्र वरिष्ठ महामंत्री पवन मनोचा महामंत्री जितेंद्र सिंह चौहान मौजूद रहे।


